Skip to main content

विश्व के सभी देशों का आह्वान भावी पीढ़ी के हित में नई विश्व व्यवस्था बनाने हेतु एकजुट हों...

विश्व के सभी देशों का आह्वान भावी पीढ़ी के हित में नई विश्व व्यवस्था बनाने हेतु एकजुट हों...

  • विश्व के मुख्य न्यायाधीशों के 23वें अन्तर्राष्ट्रीय सम्मेलन का घोषणापत्र जारी

नई विश्व व्यवस्था  हेतु दुनिया के देशों को एकजुट होने काआह्वान किया 57 देशों से पधारे न्यायविद्दों  व कानूनविद्दों  ने

लखनऊ, 22 नवम्बर। सिटी मोन्टेसरी स्कूल के तत्वावधान में आयोजित ‘विश्व के मुख्य न्यायाधीशों के 23वें अन्तर्राष्ट्रीय सम्मेलन’ में पधारे 57 देशों के राष्ट्रपति, प्रधानमंत्री, न्यायविद्, कानूनविद् व अन्य प्रख्यात हस्तियों ने ‘लखनऊ घोषणा पत्र’ के माध्यम से विश्व के सभी देशों का आह्वान किया है कि भावी पीढ़ी के हित में नई विश्व व्यवस्था बनाने हेतु एकजुट हों। चार दिनों तक चले इस महासम्मेलन के अन्तर्गत विश्व की प्रख्यात हस्तियों, न्यायविद्दों व कानूनविद्दों ने गहन चिन्तन, मनन व मन्थन के उपरान्त आज सी.एम.एस. गोमती नगर (प्रथम कैम्पस) ऑडिटोरियम में सर्वसम्मति से ‘लखनऊ घोषणा पत्र’ जारी किया। लखनऊ घोषणा पत्र मे कहा  गया कि विश्व में युद्ध और संघर्ष व्याप्त है, जो कि जलवायु सम्बन्धित आपातकालीन स्थिति व आर्थिक असमानता तथा कोविड की विभीशिका के पश्चात और  परमाणु युद्ध रूप ले सकता है। ग्लोबल वार्मिंग व जलवायु परिवर्तन पृथ्वी पर प्रतिकूल प्रभाव डाल रहे है और इन्हें कार्यसूची में प्राथमिकता देने की आवश्यकता है, साथ ही कहा गया  सतत विकास के लिए विश्व शांति आज की सबसे बड़ी आवश्यकता है ताकि वैश्विीकरण के इस युग में विज्ञान, प्रौद्योगिकी व विकास के लाभ लोगों, खासतौर से सबसे गरीब व दलित उन व्यक्तियों तक पहुँच  सके जो मौलिक व आधारभूत अधिकार तथा मानवाधिकार तथा मूल स्वतंत्रता के अधिकार से वंचित है।

संयुक्त राष्ट्र एक बड़ी संस्था है जो शांति, मानवाधिकार, सामाजिक उत्थान, विकासके लिए कार्य करती है  परन्तु जिसमें अधिकारिकता व आवश्यक तंत्रों की कमी है, जिससे आम सभा के निर्णयों को लागू किया जा सके।सभी  मुख्य न्यायाधीश, जज, एवं कानूविद् ‘विश्व के मुख्य न्यायाधीशों के 23वें सम्मेलन’ एवं पूर्व के आयोजित सम्मेलनों में पारित प्रस्ताव की पुष्टि करते हुए , त रूल ऑफ लॉ एवं न्यायालय की स्वतत्रता की केन्द्रीयता की भी पुष्टि करते हैं, और आगे संकल्प करते हैं  कि प्रमुख तथा सरकारों के प्रमुख से निवेदन किया जायेगा कि विश्व के संघटन  को संयुक्त राष्ट्र चार्टर के अनुच्छेद 108 और 109 की समीक्षा करने हेतु, ठोस कदम उठायें , ग्लोबल वार्मिंग खत्म/कम करने के लिए आवष्यक कदम उठायें तथा विश्व संसद की स्थापना के लिए प्रभावशाली वैश्विक शासन करने वाली संस्था की स्थापना और आतंकवाद, कट्टरपंथी व युद्धों को रोकने के लिए व महासंहार के शस्त्रों का अन्त करने के लिए प्रयास किए जाएँ ,अन्तर्राष्ट्रीय भ्रष्टाचार निवारण कोर्ट की स्थापना पर विचार किया ,सभी व्यक्तियों के सम्मान की रक्षा हो ,स्कूलों में विश्व नागरिकता शिक्षा को प्रोत्साहित करें तथा यह भी कहा कि इस संकल्प-पत्र की प्रतियाँ संसार की सभी सरकारों के हेड व मुख्य न्यायाधीशों के पास भेजी जायेंगी व संयुक्त राष्ट्र संघ के महासचिव को भेजी जायेंगी, जिससे वे इन पर विचार करें और ठोस कदम उठाएँ।

Comments

Popular posts from this blog

आत्मा अजर अमर है! मृत्यु के बाद का जीवन आनन्द एवं हर्षदायी होता है!

-आध्यात्मिक लेख  आत्मा अजर अमर है! मृत्यु के बाद का जीवन आनन्द एवं हर्षदायी होता है! (1) मृत्यु के बाद शरीर मिट्टी में तथा आत्मा ईश्वरीय लोक में चली जाती है :विश्व के सभी महान धर्म हिन्दू, बौद्ध, ईसाई, मुस्लिम, जैन, पारसी, सिख, बहाई हमें बताते हैं कि आत्मा और शरीर में एक अत्यन्त विशेष सम्बन्ध होता है इन दोनों के मिलने से ही मानव की संरचना होती है। आत्मा और शरीर का यह सम्बन्ध केवल एक नाशवान जीवन की अवधि तक ही सीमित रहता है। जब यह समाप्त हो जाता है तो दोनों अपने-अपने उद्गम स्थान को वापस चले जाते हैं, शरीर मिट्टी में मिल जाता है और आत्मा ईश्वर के आध्यात्मिक लोक में। आत्मा आध्यात्मिक लोक से निकली हुई, ईश्वर की छवि से सृजित होकर दिव्य गुणों और स्वर्गिक विशेषताओं को धारण करने की क्षमता लिए हुए शरीर से अलग होने के बाद शाश्वत रूप से प्रगति की ओर बढ़ती रहती है। (2) सृजनहार से पुनर्मिलन दुःख या डर का नहीं वरन् आनन्द के क्षण है : (2) सृजनहार से पुनर्मिलन दुःख या डर का नहीं वरन् आनन्द के क्षण है :हम आत्मा को एक पक्षी के रूप में तथा मानव शरीर को एक पिजड़े के समान मान सकते है। इस संसार में रहते हुए

लखनऊ में स्मारक समिति कर्मचारियों का जोरदार प्रदर्शन

लखनऊ में स्मारक समिति कर्मचारियों का जोरदार प्रदर्शन स्मारक कर्मचारियों ने किया कार्य बहिष्कार कर्मचारियों ने विधानसभा घेराव का किया ऐलान जानिए किन मांगों को लेकर चल रहा है प्रदर्शन लखनऊ 2 जनवरी 2024 लखनऊ में स्मारक समिति कर्मचारियों का जोरदार प्रदर्शन स्मारक कर्मचारियों ने किया कार्य बहिष्कार और कर्मचारियों ने विधानसभा घेराव का भी है किया ऐलान इनकी मांगे इस प्रकार है पुनरीक्षित वेतनमान-5200 से 20200 ग्रेड पे- 1800 2- स्थायीकरण व पदोन्नति (ए.सी.पी. का लाभ), सा वेतन चिकित्सा अवकाश, मृत आश्रित परिवार को सेवा का लाभ।, सी.पी. एफ, खाता खोलना।,  दीपावली बोनस ।

भगवान चित्रगुप्त व्रत कथा पुस्तक का भव्य विमोचन

भगवान चित्रगुप्त व्रत कथा पुस्तक का भव्य विमोचन लखनऊ, जुलाई 2023, अयोध्या के श्री धर्महरि चित्रगुप्त मंदिर में भगवान चित्रगुप्त व्रत कथा पुस्तक का भव्य विमोचन  किया गया। बलदाऊजी द्वारा संकलित तथा सावी पब्लिकेशन लखनऊ द्वारा प्रकाशित इस पुस्तक का विमोचन संत शिरोमणी श्री रमेश भाई शुक्ल द्वारा किया गया जिसमे आदरणीय वेद के शोधक श्री जगदानंद झा  जी भी उपस्थित रहै उन्होने चित्रगुप्त भगवान् पर व्यापक चर्चा की।  इस  अवसर पर कई संस्था प्रमुखो ने श्री बलदाऊ जी श्रीवास्तव को शाल पहना कर सम्मानित किया जिसमे जेo बीo चित्रगुप्त मंदिर ट्रस्ट,  के अध्यक्ष श्री दीपक कुमार श्रीवास्तव, महामंत्री अमित श्रीवास्तव कोषाध्यक्ष अनूप श्रीवास्तव ,कयस्थ संध अन्तर्राष्ट्रीय के राष्ट्रीय अध्यक्ष दिनेश खरे, अ.भा.का.म के प्रदेश अध्यक्ष श्री उमेश कुमार जी एवं चित्रांश महासभा के कार्वाहक अध्यक्ष श्री संजीव वर्मा जी के अतिरिक्त अयोध्या नगर के कई सभासद भी सम्मान मे उपस्थित रहे।  कार्यक्रम की अध्यक्षता संस्था के अध्यक्ष दीपक श्रीवास्तव जी ने की एवं समापन महिला अध्यक्ष श्री मती प्रमिला श्रीवास्तव द्वारा किया गया। कार्यक्रम