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जनता की सहूलियत के लिए पुलिस कमिश्नरेट लखनऊ की नई पहल 


जनता की सहूलियत के लिए पुलिस कमिश्नरेट लखनऊ की नई पहल 


http://lucknowpolice.up.gov.in


दिनांक - 07.09.2020 पुलिस कमिश्नरेट लखनऊ द्वारा आम जनमानस को पुलिस की सेवाओं का शीघ्र लाभ प्रदान किये जाने हेतु नई पहल के तहत श्री सुजीत पाण्डेय, पुलिस आयुक्त, लखनऊ की प्रेरणा से श्री एन. चौधरी संयुक्त पुलिस आयुक्त, अपराध एवं मुख्यालय के निर्देशन में श्री अमित कुमार अपर उप पुलिस आयुक्त एवं श्री अवनीश्वर चन्द्र श्रीवास्तव, सहायक पुलिस आयुक्त, कार्यालय के नेतृत्व में पुलिस कमिश्नरेट की बेवसाइट http://lucknowpolice.up.gov.in प्रारम्भ की गयी है, जिसमें लखनऊ पुलिस कमिश्नरेट के अन्तर्गत कार्यरत विभिन्न विभागो एवं शाखाओं का विवरण एवं उनके द्वारा किये जाने वाले कार्यों के बारे में जानकारी प्राप्त की जा सकती है। पुलिस कमिश्नरेट लखनऊ में नियुक्त अधिकारियों का विवरण एवं उनके सी.यू.जी. नम्बर भी बेवसाइट पर उपलब्ध है। इस बेवसाइट के माध्यम से पुलिस की विभिन्न सेवाओं को जनता के लिए उपलब्ध कराया जाना प्रस्तावित है, इनमें से सबसे पहले चरित्र सत्यापन एवं किरायेदारी सत्यापन की सुविधा आम जनता के लिए प्रथम चरण के तहत प्रारम्भ कर दी गयी है, इस बेवसाइट का शुभारम्भ आज दिनांकः 07/09/2020 को पुलिस आयुक्त, महोदय द्वारा किया जा रहा है।


A. चरित्र सत्यापन (व्यक्तिगत) B. किरायेदार सत्यापन C. यातायात D. साइबर अपराध E. महिलाओं के विरूद्ध अपराध की रोकथाम व सुरक्षा


A- चरित्र सत्यापन (व्यक्तिगत)


इस वेबसाइट के शुरूआत होने पर आमजनमानस को होने वाले फायदे निम्नवत् है


1. पूर्व में चरित्र सत्यापन होने में 02-03 महीने का समय लगता था, जो घटकर 15 दिवस में पूर्ण हो जायेगा। 2. पूर्व में चरित्र सत्यापन हेतु आवेदन करने के लिए आवेदक को कार्यालय में जाकर लाइन लगाना पड़ता था,जो वर्तमान में घर बैठे ही ऑनलाइन आवेदन कर सकते है। 3. आनलाइन आवेदन का शुल्क, पेमेन्ट गेटवे के माध्यम से घर बैठे ही जमा कर सकते है। 4. विभिन्न कार्यालयों के चक्कर न लगाकर वन स्टेप वैरीफिकेशन की सुविधा 5. चरित्र प्रमाण-पत्र तैयार होते ही आवेदक द्वारा दिये गये मोबाइल नम्बर पर मैसेज पहुंचेगा। 6. चरित्र प्रमाण-पत्र का सत्यापन कोई भी संस्था किसी कार्य हेतु चरित्र प्रमाण पत्र नम्बर के माध्यम से सत्यापित कर सकती है कि यह लखनऊ पुलिस कमिश्नरेट द्वारा जारी किया गया है अथवा नहीं।


नागरिक सेवाये


A. वरिष्ठ नागरिक प्रकोष्ठ B. जागरुक नागरिक c. खोया पाया D. कम्युनिटी पुलिसिंग E. पासपोर्टF. लोक शिकायत प्रकोष्ठ G. गुमशुदा बच्चे H. गुमशुदगी की सूचना I. सतर्क रहे, सुरक्षित रहे J. उपयोगी ऐप्स K. उपयोगी वेबसाइटें L. फेक न्यूज वेरिफिकेशन सूचना अधिकार प्रकोष्ठ N. यातायात मार्ग दर्शिका 0. निविदायें


A. वरिष्ठ नागरिक प्रकोष्ठ


प्रकोष्ठ में वरिष्ठ नागरिकों द्वारा अपनी समस्याओं को लेकर लिखित प्रार्थना पत्र दिया जा सकता है, इनका निस्तारण सम्बन्धित सहायक पुलिस आयुक्त द्वारा प्राथमिकता एवं संवेदनशीलता के आधार पर किया जाता है। प्रकोष्ठ का एक सी.यू.जी. मो0नं0 (9454403882) 24 घण्टे कार्य करता है। इस पर भी वरिष्ठ नागरिकों द्वारा शिकायत दर्ज करायी जा सकती है एवं इनका भी निस्तारण यथाशीघ्र प्राथमिकता के आधार पर किया जाता है।


B. खोया पाया


यदि आपका पासपोर्ट, मोबाइल फोन, वोटर आईडी, आधार कार्ड या कोई अन्य अभिलेख कहीं खो गए है । या आप को कोई उक्त दस्तावेज प्राप्त हुए है । तो आप इसकी रिपोर्ट दर्ज कराने हेतु आवेदन कर सकते है। किसी पाए हुए दस्तावेज या सामान की सूचना देना सामाजिक दृष्टिकोण से महत्वपूर्ण एवं जागरूक नागरिक का कर्तव्य होता है।


C. कम्युनिटी पुलिसिंग


कम्यूनिटी पुलिसिंग, पुलिस की एक ऐसी रणनीति है, जो पुलिस और जनता के आपसी सम्बन्धो के निर्माण पर केंद्रित है, और जनता के सदस्यों के साथ मिलकर कार्य करती है। पुलिस कमिश्नरेट में पुलिसिंग को जनउन्मुखी बनाने के लिए, पुलिस व जनता के बीच की दुरी को घटाने के लिए एक अभियान की तौर पर शुरू किया गया है। जिसमे कई प्रोजेक्ट शामिल किये गए है - - नमस्ते लखनऊ • सवेरा • साथी प्रोजेक्ट - पीस कमेटी मीटिंग


D. पासपोर्ट


इस वेबसाइट में पासपोर्ट के सम्बन्ध में फर्जी वेबसाइट के सम्बन्ध में बताया गया है और जो पासपोर्ट की आधिकारिक वेबसाइट और मोबाइल एप के सम्बन्ध में जानकारी दी गयी है। इस वेबसाइट में सुगमता से ऑनलाइन अपना आवेदन कर सकते है।


E. लोक शिकायत प्रकोष्ठ


लोक शिकायत प्रकोष्ठ द्वारा विभिन्न स्तरो पर जनता द्वारा की गयी शिकायतो का निस्तारण कराया जाता है। इसमें मुख्य रूप से मा0 मुख्यमंत्री कार्यालय, उ0प्र0 शासन, मण्डलायुक्त कार्यालय, पुलिस महानिदेशक कार्यालय, अपर पुलिस महानिदेशक कार्यालय, पुलिस महानिरीक्षक कार्यालय, लखनऊ पुलिस कमिश्नर और जिलाधिकारी कार्यालय के स्तर पर प्राप्त शिकायतो का प्रकोष्ठ द्वारा निर्धारित रजिस्टरों में विवरण अंकित करते हुए शिकायतो को सम्बन्धित क्षेत्र के सहायक पुलिस आयुक्त को जाँच हेतु प्रेषित किया जाता है। सहायक पुलिस आयुक्त द्वारा संदर्भित प्रार्थना पत्र पर कार्यवाही करते हुए आख्या कार्यालय में उपलब्ध करायी जाती है, कृत कार्यवाही की आख्या सम्बन्धित को इस प्रकोष्ठ के माध्यम से प्रेषित की जाती है। प्रकोष्ठ द्वारा जाँचो के समयबद्ध और गुणवत्तापरक निस्तारण कराये जाने में महत्वपूर्ण भूमिका निभायी जाती है।


F. गुमशुदा बच्चे


वेबसाइट के जरिये गुमशुदा बच्चे के खोये जाने एवं बरामद होने के सम्बन्ध में सूचना प्राप्त कर सकते है। कृपया बच्चे के बारे में अधिकतम और सटीक जानकारी प्रदान करें।


G. गुमशुदगी की सूचना


किसी भी व्यक्ति के गुमशुदा होने की सूचना पूर्ण विवरण के साथ इस वेबसाइट पर अपलोड कर सकते है। वेबसाइट पर दर्ज होने के पश्चात कमिश्नरेट लखनऊ के समस्त थानों व डीसीआरबी कार्यालय में सूचना का प्रचार-प्रसार स्वतः ही हो जायेगा. जिससे सटीक कार्यवाही हो जायेगी।


H. यातायात


- ऑनलाइन भुगतान वेबसाइट में उपलब्ध लिंक यातायात मार्गदर्शिका मे दिये गये ई-चालान लिंक के माध्यम से किया जा सकता है। . ई-चालान सम्बन्धी शिकायत/समस्या/सुझाव के लिये ई-मेल आईडी dcptrafficlko@gmail.com के माध्यम से सूचना प्रेषित कर सकते है। . ई-मेल पर शिकायत के अतिरिक्त शिकायत/समस्या हेतु (1) 7311190190 (2) 7311190109 दिये गये ___मोबाइल नम्बर पर शिकायत दर्ज करा सकते है।


I. सतर्क रहे, सुरक्षित रहे


किसी भी तरह की धोखाधड़ी । ठगी । ऑनलाइन फ्रॉड साइबर अपराध । महिला अपराध व सुरक्षात्मक उपाय एवं विभिन्न परिस्थितियों से सावधान रहने अथवा निपटने हेतु विभिन्न तरह से काफी उपयोगी सुरक्षात्मक उपाय बताये गये है।


J. पुलिस स्टेशन ( सम्पर्क )


लखनऊ कमिश्नरेट के अन्तर्गत आने वाले समस्त थानों के प्रभारी के (सीयूजी नं0) व कार्यालयों के दूरभाष नं0 उपलब्ध


1- समय 02-03 महीने से घटकर 15 दिवस


लखनऊ पुलिस कमिश्नरेट के अन्तर्गत आने वाले थानों से संबंधित आवेदक को चरित्र प्रमाण पत्र बनवाने हेतु पूर्व में आवेदन पत्र एवं निर्धारित फीस जमा करने हेतु कार्यालय आना पड़ता था, जिसके उपरान्त आवेदन पत्र संबंधित थाने को जाँच हेतु प्रेषित किये जाते थे, थाने की जाँच आख्या प्राप्त होने के पश्चात चरित्र सत्यापन शाखा से डी.सी.आर.बी. भेजा जाता था। डीसाआरबी से आख्या चरित्र सत्यापन शाखा में प्राप्त होने के पश्चात जाँच हेतु एल.आई.यू. भेजे जाते थे, एल.आई.यू. से जाँच आख्या प्राप्त होने के पश्चात आवेदक को चरित्र प्रमाण-पत्र निर्गत किया जाता था। इस पूरी प्रक्रिया में लगभग 02-03 महीने का समय लग जाता था। वर्तमान में यह समय घटकर 15 दिवस हो गया है।


2- घर बैठे आनलाइन सत्यापन


पूर्व में चरित्र सत्यापन हेतु आवेदन करने के लिए आवेदक को कार्यालय आकर निर्धारित फार्म में आवश्यक प्रपत्रों को संलग्न करते हुए आवेदन करना होता था तथा इसके लिए निर्धारित शुल्क आकिंक शाखा में जमा करना पड़ता था। वर्तमान में लखनऊ पुलिस कमिश्नरेट की बेवसाइट के माध्यम से चरित्र प्रमाण-पत्र हेतु आनलाइन आवेदन करने व फीस जमा करने की सुविधा प्रदान की गयी है, अब आवेदक को कार्यालय आने की आवश्यकता नही है वह घर बैठे आवेदन कर सकता है।


3- आनलाइन आवेदन


 आनलाइन आवेदन करने के लिए आवेदक को अपना पूर्ण विवरण के साथ फोटो, आधार कार्ड/वोटर आई.डी की फोटो अपलोड करना होगा तथा पैमेन्ट गेट-वे के माध्यम से आनलाइन ही निर्धारित शुल्क जमा करना होगा।


4- वन स्टेप वैरीफिकेशन


पूर्व प्रक्रिया में चरित्र सत्यापन शाखा को आवेदक के प्रपत्रों को सत्यापन हेतु स्थानीय थाना, डी.सी.आर.बी., एल.आई.यू. तीनो जगह तीन बार में अलग-अलग भेजना पड़ता था, परन्तु वर्तमान प्रक्रिया में आवेदन के उपरान्त आवेदन प्रपत्र स्वतः संबंधित थाना, डीसीआरबी एवं एल.आई.यू. के पास पहुँच जायेगा, तीनों के द्वारा अपनी रिपोर्ट 05 दिवस के अन्दर प्रस्तुत करना अनिवार्य है। इस प्रकार वन-स्टेप में थाना, डीसीआरबी, एवं एल.आई.यू. से जाँच रिपोर्ट 05 दिवस के अन्दर प्राप्त हो जाती है और जाँच रिपोर्ट के आधार पर आवेदक को चरित्र प्रमाण-पत्र जारी कर दिया जाता है।


5- चरित्र प्रमाण-पत्र आवेदक को आनलाइन प्राप्त होगा


जहां पहले की प्रक्रिया में आवेदक को अपना प्रमाण-पत्र प्राप्त करने के लिए पुलिस कार्यलाय के चरित्र सत्यापन शाखा आना पड़ता था, परन्तु अब चरित्र प्रमाण-पत्र तैयार होते ही आवेदक द्वारा दिये गये मोबाइल नम्बर पर मैसेज पहुँच जायेगा और आवेदक अपने फोन पर ही दिये गये लिंक के माध्यम से चरित्र प्रमाण पत्र डाउनलोड करके प्रिंन्ट कर सकता है।


6- चरित्र प्रमाण-पत्र का सत्यापन


यदि आवेदक द्वारा किसी संस्था में किसी कार्य हेतु इस चरित्र प्रमाण-पत्र को लगाया जाता है और संस्था उसके प्रमाण पत्र को सत्यापित करना चाहती है तो वह आनलाइन http://lucknowpolice.up.gov.in बेवसाइट पर चरित्र प्रमाण पत्र नम्बर के माध्यम से यह सत्यापित कर सकती है कि यह चरित्र प्रमाण पत्र लखनऊ पुलिस कमिश्नरेट द्वारा जारी किया गया है अथवा नही।


B- किरायेदार सत्यापन


इस वेबसाइट के शुरूआत होने पर आमजनमानस को होने वाले फायदे निम्नवत् है - 1- इस सुविधा के द्वारा मकान मालिको के द्वारा अपने किरायेदारो का सत्यापन आनलाइन कराया जा सकता है। किसी होटल या गेस्ट हाउस में अधिक दिनों तक रूकने वाले व्यक्तियों का सत्यापन भी होटल या गेस्ट हाउस के मालिक करा सकते है। 2- यह सुविधा निशुल्क है। 3- भवन स्वामी को बेवसाइट पर जाकर किरायेदार सत्यापन विकल्प में किरायेदार का नाम, फोन नम्बर, किरायेदार का मूल पता, किरायेदार का मूल जनपद, किरायेदार का मूल पुलिस थाना, किरायेदार का दस्तावेज (आधार कार्ड/पासपोर्ट/सरकारी आईडी कार्ड/अन्य) अपलोड करना होगा। 4- आवेदन करते ही चरित्र सत्यापन शाखा के माध्यम से किरायेदार का विवरण स्थानीय थाने को प्रेषित हो जायेगा । स्थानीय थाने द्वारा किरायेदारों के बारे में जानकारी प्राप्त की जायेगी और सही पाये जाने पर आवेदक/मकान मालिक को मैसेज के माध्यम से सूचित किया जायेगा । यदि संदिग्ध पाया जाता है तो पुलिस द्वारा अग्रिम कार्यवाही की जायेगी। 5- किरायेदारी सत्यापन हेतु आवेदक/मकान मालिक को थाना अथवा पुलिस के किसी कार्यालय में जाने की आवश्यकता नही है। इस कारण अधिक से अधिक लोग अपने किरायेदारो का सत्यापन कराना चाहेगें। 6- अधिक से अधिक लोग किरायेदारी सत्यापन के लिए प्रेरित होगे, इससे पुलिस के पास किरायेदारो का एक डाटा बैंक तैयार हो जायेगा जो अपराध नियंत्रण एवं इनवेस्टिगेशन में भी सहायक होगा।


C- साइबर अपराध


साइबर क्राइम सेल का कार्य साइबर अपराधों की रोकथामए साइबर अपराधियों की गिरफ्तारी करने के साथ ही जनता को साइबर अपराध के सम्बन्ध में जागरुक करना है। साइबर क्राइम सेल के अन्तर्गत सम्पादित किए जा रहे कार्यों का विवरण बिन्दुवार निम्नवत है:


1. सोशल मीडिया सम्बन्धित साइबर फ्रॉड जैसे फेसबुक, इंस्टाग्राम, ट्वीटर, ह्वाट्स एप, यूट्यूब आदि के शिकायती प्रार्थनापत्रों की जाँच निष्पक्षता के साथ सम्पादित करना तथा उन पर विधिक कार्यवाही सुनिश्चित करना। 2. बैंक फ्रॉड सम्बन्धित साइबर फ्रॉड जैसे ATM CARD,CREDIT CARD, UPI आदि की जाँच निष्पक्षता के साथ सम्पादित करना तथा उन पर विधिक कार्यवाही सुनिश्चित करना। 3. जनपदीय पुलिस थानों में साइबर अपराध से सम्बन्धित पंजीकृत अभियोगो के निस्तारण हेतु विवेचक को तकनीकी सहयोग प्रदान करना। 4. जनपदीय पुलिस थाने में वांछित साइबर अपाधियों की गिरफ्तारी में सम्बन्धित विवेचक को तकनिकी सहयोग प्रदान करना। 5. साइबर क्राइम सेल के द्वारा समय समय पर शैक्षिक संस्थानो व सरकारी संस्थानो जैसे सेना/अर्धसैनिक बलों/ स्कूलों आदि में साइबर जागरुकता कार्यक्रम का आयोजन किया जाना।


D- महिलाओं के विरूद्ध अपराध की रोकथाम व सरक्षा


सतर्कता-सजगता-पहल उत्तर प्रदेश सरकार की मंशा के अनुरूप पुलिस कमिश्नरेट लखनऊ में महिलाओं के विरूद्ध होने वाले अपराध की रोकथाम तथा उनकी सुरक्षा के प्रति प्रतिबद्ध हैं। इसी उद्देश्य से “महिला अपराध व सुरक्षा इकाई" की स्थापना की गई। लक्ष्य है लखनऊ को “सुरक्षित लखनऊ" बनाना । लक्ष्य प्रत्येक महिला में "सुरक्षा व आत्मविश्वास " का भाव उत्पन्न करना ताकि लखनऊ में रहने वाली प्रत्येक महिला/बालिका किसी अकेले अथवा किसी के साथ “निडर" होकर बिना अपने स्वाभिमान को ठेस पहुंचाये निवास/संचरण कर सके । इसके अन्तर्गत निम्न कार्य सम्पादित किये जाते है :


1. महिलाओं के विरूद्ध होने वाले जघन्य अपराधों का पर्यवेक्षण तथा समयबद्ध निस्तारण। 2. महिलाओं के प्रार्थना-पत्र, जो सीधे प्राप्त उनकी जांच निष्पक्षता के साथ सम्पादित करना तथा उन पर विधिक कार्यवाही सुनिश्चित करना। 3. महिला आयोग, वरिष्ठ अधिकारियों, अन्य आयोगों/विभागों द्वारा महिला सम्बन्धी जांचों का समयबद्ध निस्तारण । 4. महिला सम्बन्धी अपराधों की सशक्त मा0 न्यायालय पैरवी। 5. पारिवारिक विवादों को उच्च स्तरीय काउंसलिंग के माध्यम से निस्तारण । 6. महिला अधिकारों व कानूनों के प्रति जन जागरूक्ता उत्पन्न करना। 7. सेल्फ डिफेंस ट्रेनिंग के माध्यम से आत्म सुरक्षा का भाव उत्पन्न करना।


 


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