स्थानीय दस्तकारों तथा पारम्परिक कारीगरोंके विकास हेतु ’’विश्वकर्मा श्रम सम्मान योजना’’ लागू
लखनऊः 06 जुलाई 2020, उपायुक्त उद्योग जिला उद्योग एवं उद्यम प्रोत्साहन केन्द्र, लखनऊ श्री मनोज कुमार चैरसिया ने सूचित किया कि उत्तर प्रदेश सरकार द्वारा शहरी एवं ग्रामीण क्षेत्र के स्थानीय दस्तकारों तथा पारम्परिक कारीगरोंके विकास हेतु ’’विश्वकर्मा श्रम सम्मान योजना’’ लागू की गयी है। (जो पूर्णताया आनॅलाइन है)इस योजना अन्तर्गत टोकरी बुनकर, बढई नाई, हलवाई, दर्जी, कुम्हार, सुनार, लोहार, राजमिस्त्री, मोची टेªडों में प्रशिक्षणोपरान्त टूलकिट प्रदान की जायेगी।
उन्होंने सूचित किया कि उक्त योजनान्तर्गत कतिपय टेªडों मोची, टोकरी बुनकर, सुनार एवं कुम्हार में आवेदन कम होने के कारण जनपद के इस क्षेत्र से जुड़े स्थानीय दस्तकार तथा पारम्परिक कारीगर विभागीय वेबसाइट www.diupmsme.upsdc.gov.in पर विस्तृत जानकारी प्राप्त कर दिनांक 11.07.2020 तक आॅनलाइन आवेदन कर सकते हैं। आवेदक की आयु न्यूनतम 18 वर्ष होनी चाहिए, आवेदक उत्तर प्रदेश का निवासी होना चाहिए, शौक्षिक योग्यता अनिवार्य नहीं है, पिछले 02 वर्षो में आवेदक ने केन्द्र सरकार या राज्य सरकार से टूलकिट के सम्बन्ध में कोई लाभ प्राप्त नहीं किया है, योजना के अनुसार आवेदक या उसके परिवार का सदस्य केवल एक बार ही योजना के लिए आवेदन करने के लिए पात्र होगा, योजना के तहत पात्रता मानदंडों को पूरा करने के लिए आवेदक द्वारा एक शपथ पत्र प्रस्तुत किया जाना होगा, योजनान्तर्गत पात्रता हेतु जाति एक मात्र आधार नहीं होगा, योजनान्तर्गत लाभ प्राप्त करने हेतु ऐसे व्यक्ति भी पात्र होगे जो परम्परागत कारीगरी करने वाली जाति से भिन्न हो, ऐसे आवेदकों को परंपरागत कारीगराी से जुड़े होने के प्रमाण के रूप में ग्राम प्रधान, अध्यक्ष नगर पंचायत अथवा नगर पलिका/नगर निगम द्वारा निर्गत प्रमाण पत्र प्रस्तुत करना अनिवार्य होगा।
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