CAA के समर्थन में एक जन जागरण अभियान के रूप में पदयात्रा रघुवीर नगर के संघचालक प्रवीण जी , सह संघचालक श्रीकांत जी और नगर कार्यवाहक पवन जी के द्वारा निकाली गई
CAA के समर्थन में एक जन जागरण अभियान के रूप में पदयात्रा रघुवीर नगर के संघचालक प्रवीण जी , सह संघचालक श्रीकांत जी और नगर कार्यवाहक पवन जी के द्वारा निकाली गई
लखनऊ I आज दिनांक 12 /01/ 2020 को CAA के समर्थन में एक जन जागरण अभियान के रूप में पदयात्रा रघुवीर नगर के संघचालक प्रवीण जी , सह संघचालक श्रीकांत जी और नगर कार्यवाहक पवन जी के द्वारा निकाली गई जिसमें सैकड़ों की संख्या में स्वयंसेवकों ने हिस्सा लिया और पदयात्रा गणेश गंज से प्रारंभ होकर के अमीनाबाद मार्केट से नाका हिंडोला चौराहा होते हुए रकाबगंज चौराहे पर एक सभा के रूप में परिवर्तित हो गई जिसमें राष्ट्र धर्म के निदेशक सर्वेश जी के द्वारा CAA पर विस्तार से लोगों को समझाया गया और पवन जी द्वारा सभा का समापन किया गया
महात्मा गांधी ने कहा था पाकिस्तान में रहने वाले हिंदू और सिख हर नजरिए से भारत आ सकते हैं अगर वह वहां निवास नहीं करना चाहते है उस स्थिति में उन्हें नौकरी देना और उनके जीवन को सामान्य बनाना भारत सरकार का पहला कर्तव्य है भारतवर्ष में नागरिकता संबंधी नियमों के लिए तत्कालीन भारत सरकार ने प्रधानमंत्री स्वर्गीय पंडित जवाहरलाल नेहरू जी के नेतृत्व में नागरिकता अधिनियम 1955 पारित किया 1955 के अधिनियम में विदेशी शरण थी जो भारतवर्ष में लगातार 11 वर्षों के लिए हैं उनको भारतीय नागरिकता प्राप्त करने हेतु आवेदन करने का अवसर प्रदान करने का प्रावधान है इस प्रावधान के अंतर्गत भारत की नागरिकता प्राप्त करने वाले प्रमुख लोग
नंबर वन वर्तमान कांग्रेस अध्यक्ष श्रीमती सोनिया गांधी जी 1983
नंबर दो मशहूर पाकिस्तानी गायक से अदनान समी 2019
नागरिकता संशोधन अधिनियम किसी भी वर्ग के भारतीय नागरिकों के देश में निवास करने के मौलिक अधिकार या उनकी नागरिकता पर कोई असर नहीं डालता साथी संशोधन का भारतीय मुस्लिम नागरिकों से कोई संबंध नहीं है , इसके तत्व क्या है , किसी की भी नागरिकता समाप्त करने का कोई प्रावधान सी ए ए मैं नहीं है किसी भी वर्कर विदेशी घुसपैठियों को बाहर निकाला जा सकता है भारतीय नागरिकों को नागरिकता कोई सबूत नहीं देना है और ना ही मांगा जा सकता है भारतीय मुस्लिम या किसी भी वर्ग के नागरिकों से वंशावली या माता-पिता के भारतीय होने का विवरण नहीं मांगा जा सकता है एनआरसी का सीए ए से कोई संबंध नहीं है दोनों कानून अलग अलग है
वर्तमान नागरिकता अधिनियम संशोधन के बाद किसी की भी भारतीय नागरिकता चिंता नहीं है या केवल पाकिस्तान बांग्लादेश एवं अफगानिस्तान के धार्मिक आधार पर प्रताड़ित एवं उत्पीड़ित अल्पसंख्यक शरणार्थियों को भारत की नागरिकता देने का अवसर प्रदान करता है
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